Abhishek Singh
5 min readMar 12, 2020

50+ Desh Bhakti Shayari देश भक्ति Status in Hindi

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चिराग जलते है तो जलने दो
आसमां रोशन होता है होने दो
बंद करो हिन्दू मुस्लिम को बाटने का धंधा

अब हमे मिलजुलकर एक तिरंगे के नीचे रहने दो

Deshbhakti whatsapp status

बर्फ के पहाड़ों पर आग सा जलता है,
रेत के रेगिस्तान में वो हिम सा ठहरता है।
एक फौजी ही तो है जनाब,
जो देश पे मर कर भी जिंदगी जी जाता हैं।

ऐ मेरे पाँव के छालों
ज़रा लहू उगलो..,
सिरफिरे मुझसे सफ़र के निशान माँगेगे..!!

दिलदारों सा दिल रख कर ।
वहाँ भी अपनी यारी निभा लेते है,
हँसी ठिठोली की खूब बातें कर
मन के जज़्बात को आसानी से छुपा देते है…
.

सुना है, कुछ नक्कार,
हमारी वीरता का सबूत मांगते है।
ज़रा भेजो तो उन्हें सरहद पर,

सिरफिरे खुद के लिए ताबूत माँगते है।

Desh Bhakti Shayari

पूछ बैठा एक नादान शहीद की माँ से,
‘क्या करता था बेटा तेरा, कितनी की उसने कमाई की है?
माँ बोली,
“जीता था देश के लिए, ये वर्दी उसने कमाई है।

चारो और ख़ामोशी थी,
आंध्रा भी क्या खूब छाया था।
आँखें नम थी पूरे देश की जब,
वीर तिरंगे में लिपट कर घर वापस आया था।

यूँ तो कह देना आसान है,
की शहादत के बदले पैसे और सुविधाएं
मिली होगी,
। पर क्या वो सब मिलकर उनकी कमी को
पूरी कर पाई होंगी?

देश भक्ति स्टेटस शायरी 2019

न हिंदू देखा न मुसलमान देखा
उस फौजी ने पानी में डूबता इंसान देखा,
नवजात को न धर्म को, अदालत
फौजी ने बनाया हर इंसान को।

जीत पीना सीख लिया,
हार के नहीं बैठ रहे।
‘ जिनको आदत हो तूफानों से लड़ने की
वो हवा के झोंकों से नहीं डरा करते।….

एक बेटा शहीद हुआ है
दो बेटे और आगे कर दिए
सलाम है ऐसी “माँ “को
जिसने वतन के खातिर
सपूत न्योछावर कर दिए…..

इनाम में मिली नहीं आजादी
ना रिश्वत देकर पाई है
उठा पढो इतिहास जरा
कितनों ने बलि चढ़ाई है

अंग्रेजी हुकूमत के अत्याचार में भी
वो आबाद था,
___ आज़ाद हिंद फौज का निर्माता
वो सुभाष था।

Samne maut khadi thi,
Fir bhi kadam nahi dagmagaaye
uske.
Wo bhartiya sena ka sher shah tha
janab,
Tiranga bhi lipatne ke liye taras gaiee
usse.

मर मिटे इस मिट्टी के लिये,
जो स्वर्ग से भी प्यारी हैं।
बाहें खोल ए मातृभूमि,
‘दुनिया में सबसे प्यारी हैं।

दूरियां हो मगर दिल से प्यार ये कम नहीं करना
हमारी याद भी आये तो कोई गम नहीं करना
मिलूंगा मैं तुम्हें जब फ़ौज से फुर्सत मिली दिलबर
‘अगर ना लौट कर आया तो आंखें नम नहीं करना।

देश भक्ति

मेरा कत्ल कर दोकोई शिकवा ना होगा,
मुझे धोखा दे दो कोई बदला न होगा,
पर जो आँख उठी मेरे वतन ए हिन्दुस्तान पे,
तो फिर तलवार उठेगी और फिर
कोई समझौता न होगा!

ज़िन्दगी जी नही उसने मौत भी उससे हारी है।
वो खड़ा देश की सरहद पर अकेला सब पर भारी है।
ज़िन्दगी जिया तो हर कोई मौत भी सबको आती है।
असल में जिया वही,
जिसकी ज़िन्दगी वतन के काम आती है

जो देश की हिफाजत के लिए सरहद पर आते हैं,
अक्सर उनके इश्क़ के किस्से अधूरे रह जाते हैं…

वो जान देश से हार गया
दीवानगी ही ऐसी थी
पूरे देश ने भी सिर झुकाना
उसकी रवानगी ही ऐसी थी
सो गया भारत मां की गोद में
वीर बहादुर एक बच्चा था
फौलाद जैसे इरादों थे मजबूत
देशभक्त वो सच्चा था

एक शख्स ने फौजी से पूछ लिया,
जान देते हो वतन के लिए क्या मिलता है,
उसने इशारा तिरंगे की ओर किया और कहा
जो किसी को नहीं मिलता है वो हमें मिलता है..

मेरे देश की हिफाज़त ही मेरा फर्ज
हैं, और मेरा देश ही मेरी जान है, इस
पर कुर्बान है मेरा सब कुछ, नहीं
इससे बढ़कर मुझको अपनी जान है..

रूठी थी किस्मत मेरी अब
मेहरबान हो गयी
भारतीय फौजी के नाम से ही
मेरी पहचान हो गयी

शहीद भगत सिंह के
आखिरी शब्द..
“भारत मां तू रो मत मैं फिर आऊंगा!”

खूब बहती है गंगा बहने दो
मत फैलाओ देश में दंगा रहने दो
लाल हरे में मत बांटो मुझको
छत पर मेरे एक तिरंगा रहने दो।

आरजू बस यही है
दम निकले तो तेरी बन्दगी में
जय हिंद का नारा हो,
तिरंगा कफ़न हमारा हो।

आरजू बस यही है
मेरी हर सांस देश के नाम हो
जो सिर उठे तो मेरे सामने तिरंगा हो
जो सिर झुके तो वतन को प्रणाम हो।

चिराग जलते है तो जलने दो
आसमां रोशन होता है होने दो
बंद करो हिन्दू मुस्लिम को बाटने का धंधा
अब हमे मिलजुलकर एक तिरंगे के नीचे रहने दो।

अब तो मरना जीना बस तिरंगे के नाम होगा,
अगला जन्म लिया तो मेरा देश हिंदुस्तान ही होगा।

मेरा दिल मेरी धड़कन मेरी जान हो तुम
अब तो मेरे वजूद की पहचान हो तुम
ए मेरे भारत देश महान हो तुम महान हो तुम।

देश भक्ति जिसमें हो बस वो एक दिल साज है,
देश भक्ति जिसमें नहीं वो जिंदगी बेकार है।

ये तीन रंग का झंडा हमारी शान है,
इसी में पूरा हिंदुस्तान है।

आजादी की कभी शाम ना होने देंगे
शहीदों की कुर्बानी कभी बदनाम ना होने देंगे,
बची है रगो में एक बूंद भी लहू की
तब तक भारत माता का आंचल नीलाम ना होने देंगे।

ना हिंदुओं से ना मुसलमानों से ना सीखो से ना ईसाइयों से,
इस मुल्क को तकलीफ है गद्दार और बेईमानों से।

जिन्हें हम हार समझ बैठे थे गला अपना सजाने को,
वहीं अब नाग पर बैठे हमी को काट खाने को।

आन बान और शान मेरे देश की ये फौजी नौजवान है,
तीन रंगों से सजा तिरंगा यही हमारी पहचान है।

तन अनेक पर एक प्राण स्वर अनेक पर एक गान,
हम कण कण पर छा जाएंगे बन कर भारत का स्वाभिमान।

तूफान कभी शांत नहीं होते
आंधियों से जो डर जाए वो मुकाम नहीं होते
जो देश के झंडे को सलाम नहीं करते
वो सच्चे इंसान नहीं होते।

देश भक्ति जिसमें हो बस वो एक दिल साज है
देश भक्ति जिसमें नहीं वो जिंदगी बेकार है।

मत देख लेना निगाह उठा कर
मेरे वतन की तरफ वरना
वक्त भी तुम्हारा होगा
जगह भी तुम्हारी होगी
बस तिरंगा हमारा होगा।

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